टेस्ट ऑफ इंग्लिश एज अ फॉरेन लैंग्वेज के बारे में जानकारी प्रदान करें।

टेस्ट ऑफ इंग्लिश एज अ फॉरेन लैंग्वेज (टोफेल) छात्र की इंग्लिश सुनने, समझने, लिखने और बोलने की क्षमता को आँकने के लिए लिया जाता है। 180 देशों के छात्र इसमें हर साल शामिल होते हैं। भारत के लगभग 1.5 लाख छात्र प्रतिवर्ष यह टेस्ट देते हैं। यह परीक्षा साल भर में 38 से 40 बार होती है। इस टेस्ट का स्कोर कार्ड 2 वर्ष तक वैलिड रहता है। विश्व के 8500 से अधिक इंस्टीट्यूट टोफेल स्कोर के आधार पर प्रवेश देते हैं। चार से साढ़े चार घंटे की इस परीक्षा में रीडिंग, राइटिंग, स्पीकिंग और लिसनिंग सेक्शन्स होते हैं। 60-80 मिनट के रीडिंग सेक्शन में करीब 36 से 56 सवाल होते हैं। तीन से चार अनसीन पैसेज पढक़र जवाब देना होते हैं। 60-90 मिनट के लिसनिंग सेक्शन में 34-51 सवाल होते हैं। इस सेक्शन में क्लास रूम डिस्कशन और लेक्चर्स को सुनकर जवाब देना होता है। 20 मिनट के स्पीकिंग सेक्शन में 6 टास्क होते हैं। इसमें से किसी एक टॉपिक पर अपने विचार व्यक्त करने होते हैं। 50 मिनट के राइटिंग सेक्शन में 2 टास्क होते हैं जिसमें टास्क सुनकर दिए गए टॉपिक पर निबंध लिखना होता है।

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