आज पेंट व्यवसाय एक बड़ा तकनीकी क्षेत्र बन गया है। पेंट टेक्नोलॉजी की यह नई विद्या चमकता करियर बनकर उभरी है। पेंट व्यवसाय वास्तव में पेंट टेक्नोलॉजी पर आधारित है जो पूरी तरह से वैज्ञानिक स्वरूप में स्थापित हो चुका है। जरूरत के अनुसार इसमें विविधता भी है। जैसी जगह पेंट का प्रयोग होता है, उसी के अनुसार इसका स्वरूप बनता है और उसी आधार पर इसका नाम भी दिया जाता है। जैसे वॉटर बेस्ट कोटिंग, रेडिएशन ट्रीटेड कोटिंग, इलेक्ट्रो डिपोजिशन, ऑटोमोबाइल पेंट आदि। स्वरूप कुछ भी हो, मगर हर एक के मूल में रसायनों का मिश्रण है। सभी पेंट्स में रेजिन के कॉम्प्लेक्स यानी जटिल मिश्रण, प्लास्टिसाइजर, पॉलिमर्स आदि का उपयोग किया जाता है। पेंट की गुणवत्ता सुधारने के लिए आज भारत में अनुसंधान और विकास का कार्य द्रुत गति से किया जा रहा है। इसीलिए इस क्षेत्र में रोजगार की असीमित संभावनाएँ हैं। अगर आप में काबिलियत है तो कोई भी पेंट कंपनी हाथों-हाथ लेगी और मोटा वेतन और सुख-सुविधाएँ देगी। यही नहीं, अगर आप पेंट टेक्नोलॉजी में पारंगत हैं तो व्यावसायिक स्तर पर पेंट उत्पादन कंपनियों में आपके लिए रोजगार ही रोजगार है। इसके अलावा पेंट उत्पादन से संबंधित मशीनों का निर्माण करने वाली कंपनियों, कच्चा माल देने वाली कंपनियों में भी रोजगार के अवसर हैं। पेंट टेक्नोलॉजी में स्नातक और स्नातकोत्तर, दोनों ही स्तर के पाठ्यक्रम उपलब्ध हैं। दोनों ही पाठ्यक्रमों में विज्ञान विषय मूलत: रसायन विज्ञान के विद्यार्थियों का ही प्रवेश संभव है। जहाँ तक ग्रेजुएट स्तर के पाठ्यक्रमों का सवाल है, इनमें बी.टेक. इन पेंट टेक्नोलॉजी, बी.एससी इन पेंट्स, बी.टेक इन केमिकल टेक्नोलॉजी, बी.टेक. इन ऑयल एंड टेक्नोलॉजी जैसे पाठ्यक्रम प्रमुख हैं। दूसरी ओर पोस्ट ग्रेजुएट स्तर के पाठ्यक्रम हैं, जिनके लिए पहले पेंट टेक्नोलॉजी के ग्रेजुएट स्तर के पाठ्यक्रमों में उत्तीर्ण होना आवश्यक है। पोस्ट ग्रेजुएट स्तर के पाठ्यक्रमों में एम.टेक. और एम.एससी. प्रमुख हैं। पेंट टेक्नोलॉजी के प्रमुख पाठ्यक्रम इन संस्थानों में उपलब्ध हैं- यूनिवर्सिटी डिपार्टमेंट ऑफ केमिकल टेक्नोलॉजी, माटुंगा, मुंबई। सेंटर फॉर एजुकेशन, सेंट्रल इलेक्ट्रो केमिकल रिसर्च इंस्टीट्यूट, कराईकुडी, तमिलनाडु। रीजनल इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी, जमशेदपुर। यूनिवर्सिटी डिपार्टमेंट ऑफ केमिकल टेक्नोलॉजी, नॉर्थ महाराष्ट्र यूनिवर्सिटी, जलगाँïव। फैकल्टी ऑफ इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी, कोलकाता विश्वविद्यालय, कोलकाता।