विगत 15 वर्षों में भारत में मोबाइल उपभोक्ताओं की संख्या इतनी तेज गति से बढ़ी है कि वर्तमान में भारत दुनिया का दूसरा सबसे ज्यादा मोबाइल इस्तेमाल करने वाला देश बन गया है। कीमत में तेज गिरावट और बेहतर फीचर्स मिलने की वजह से मोबाइल फोन का इस्तेमाल तेजी से बढ़ा है। इसी वजह से गाँवों से लेकर महानगरों तक के हर गली-मोहल्ले में मोबाइल फोन रिपेयर करने वाले मिल जाते हैं। गौरतलब है कि मोबाइल फोन रिपेयरिंग के मामले में बेसिक हैंडसेट्स की मरम्मत करने वाले तो आसानी से मिल जाते हैं, परंतु महंगे और ब्रांडेड स्मार्टफोन रिपेयर करवाने के लिए लोगों को काफी परेशान होना पड़ता है। बाजार में स्मार्टफोन की रिपेयरिंग करने वाले कुशल टेक्निशियनों की बहुत कमी है। यदि आप मोबाइल फोन रिपेयरिंग के क्षेत्र में चमकीला करियर बनाने का सपना देख रहे हैं तो आप खास तरह की ट्रेनिंग लेकर पूरे आत्मविश्वास के साथ महंगे हैंडसेट्स की रिपेयरिंग में भी महारत हासिल कर सकते हैं और अच्छा रोजगार प्राप्त कर सकते हैं। इस समय मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम भी काफी तेजी से बदल रहे हैं। अधिकांश स्मार्टफोन में एंड्रॉयड ऑपरेटिंग सिस्टम होता है। जबकि कुछ अन्य में जैसे कि एप्पल में आईओएस, माइक्रोसॉफ्ट में विंडोज तथा ब्लैकबेरी में ओएस 10 ऑपरेटिंग सिस्टम होता है। पहले लॉलीपॉप, जेलीबीन, किटकैट जैसे ऑपरेटिंग सिस्टम थे। अब पाई जैसे ऑपरेटिंग सिस्टम बाजार में आ गए हैं। मोबाइल फोन की तकनीक में बहुत तेजी से बदलाव हो रहा है। हर दिन नए-नए सॉफ्टवेयर और नए-नए फीचर्स बाजार में आ रहे हैं। खासकर बड़ी-बड़ी कंपनियाँ हर नए मोबाइल के साथ कुछ नए फीचर्स ला रही हैं। हर दिन बदलने वाले इन फीचर्स और तकनीकों से मोबाइल फोन रिपेयरिंग करने वाले को अपडेट रहना होता है। प्रशिक्षण के दौरान फॉल्ट यानी समस्या पता करने का बेहतर अभ्यास करने पर आप मोबाइल देखते ही उसकी समस्या की तह तक पहुँच जाएँगे। इससे आपका वक्त बचेगा तथा आप प्रभावी तरीके से सेवा दे पाएँगे। मोबाइल रिपेयरिंग की नई एवं एडवांस तकनीक को समझने के लिए आप मोबाइल एप अथवा यूट्यूब पर ट्यूटोरियल वीडियोज का भी सहारा ले सकते हैं। यूट्यूब पर सभी प्रमुख कंपनियों के मोबाइल रिपेयरिंग के वीडियो उपलब्ध होते हैं। आप जिस कंपनी के जिस मॉडल की रिपेयरिंग के बारे में जानना चाहते हैं उस कंपनी का नाम डालकर यूट्यूब पर सर्च कर सकते हैं। अगर आप रोजाना कुछ समय इन वीडियो को देखेंगे तो मोबाइल मरम्मत के अपने हुनर को और अधिक बेहतर बना पाएँगे। आप गूगल प्ले स्टोर से मोबाइल रिपेयरिंग एप भी डाउनलोड कर सकते हैं। उसका इस्तेमाल भी आपके प्रशिक्षण को आसान बनाएगा। पहले सामान्य मोबाइल की मरम्मत करने पर जहाँ महीने में 15-20 हजार रुपए की आमदनी हो पाती थी, वहीं ब्रांडेड मोबाइल की रिपेयरिंग करने पर अब मोबाइल रिपेयर करने वाले आसानी से 25 से 50 हजार रुपए मासिक तक कमा लेते हैं। काम में अच्छे होने के साथ ग्राहकों के साथ अच्छे संबंध रखने से भी आप ज्यादा ग्राहकों को आकर्षित कर पाएँगे। बगैर प्रशिक्षण के मोबाइल फोन की मरम्मत काम चलाऊ ही होती है। खासकर ब्रांडेड मोबाइल फोन की मरम्मत के लिए ट्रेनिंग लेना बहुत जरूरी है। हर छोटे-बड़े शहर में आईटीआई तथा कई प्राइवेट संस्थान इससे जुड़े प्रशिक्षण कार्यक्रम चला रहे हैं। मोबाइल रिपेयरिंग के सर्टिफिकेट कोर्स तीन से छह माह के होते हैं। एडवांस कोर्स 1 से 2 वर्ष के होते हैं। मोबाइल फोन रिपेयरिंग का कोर्स आप इन प्रतिष्ठित संस्थानों से कर सकते हैं- इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्रिकल एजुकेशन, दिल्ली। नेशनल इंस्टीट्यूट फॉर एन्टरप्रेन्योरशिप एंड स्मॉल बिजनेस डेवलपमेंट, नोएडा। आईटीआई, नई दिल्ली।