विदेशों में पढ़ाई के इच्छुक छात्र-छात्राओं को निम्न पात्रता परीक्षाएँ देनी पड़ती हैं- टोफेल- टेस्ट ऑफ इंग्लिश एज ए फॉरेन लैंग्वेज (टोफेल) अंग्रेजी समझ सकने की क्षमता को मापने के लिए होता है । इसमें उत्तरी अमेरिका में बोली जाने वाली अंग्रेजी को समझने, लिखने की क्षमता और प्रारूप तथा गैर तकनीकी पाठ्य सामग्री को समझने की क्षमता मापी जाती है । परीक्षा के फार्म एवं अन्य जानकारी के लिए आप इंस्टीट्यूट ऑफ सॉइकोलॉजिकल एंड एजुकेशनल मैनेजमेंट, 119/25 ए, महात्मा गाँधी मार्ग, इलाहाबाद से संपर्क कर सकते हैं । टीडब्ल्यूई- टेस्ट ऑफ रिटिन इंग्लिश कुछ खास तिथियों में टोफेल के साथ ही होती है । न तो इसे अलग से दिया जा सकता है, न ही इसके अंक टोफेल के अंकों के साथ जोड़े जाते हैं । आधे घंटे की इस परीक्षा का उ ेश्य प्रार्थी की लिखने की क्षमता और अभिव्यक्ति की क्षमता का पता लगाना होता है । जीमेट- गे्रजुएट मैनेजमेंट एजुकेशन टेस्ट प्रबंधन में योग्यता परखने के लिए लिया जाता है । इसमें छात्रों की मौखिक, गणित संबंधी, एनालिटिकल और विभिन्न समस्याओं को हल करने संबंधी कौशल को परखा जाता है । यह परीक्षा भी वर्ष में चार बार होती है । इसके लिए ग्रेजुएट मैनेजमेंट एडमीशन टेस्ट, एजुकेशनल टेस्टिंग सर्विस, पी.ओ. बॉक्स जी-103, प्रिंस्टन एनजे 085416103 (यूएसए) से संपर्क किया जा सकता है । जीआरई- ग्रेजुएट रिकॉर्ड एग्जामिनेशन आर्ट्स, साइंस और इंजीनियरिंग में पोस्ट ग्रेजुएशन या डॉक्टरेट हेतु रजिस्ट्रेशन करवाने वाले छात्रों के लिए होती है । यह परीक्षा भारत में हर साल चार बार होती है । सैट-स्कॉलैस्टिक एप्टीट्यूट टेस्ट तीन घंटे का होता है जिसमें मौखिक तर्कशक्ति, गणित आदि की परीक्षा लेकर विभिन्न देशों से आए छात्रों की तुलना की जाती है । विस्तृत जानकारी के लिए यूनाइटेड स्टेट एजुकेशनल फाउंडेशन इन इंडिया, फुलब्राइट हाउस, 12 हेली रोड, नई दिल्ली-110001 से संपर्क कर सकते हैं । टीएसई- टेस्ट ऑफ स्पोकन इंग्लिश खासतौर पर आर्थिक सहायता चाहने वालों के लिए होता है, जिसमें अंग्रेजी भाषी विदेशी छात्रों की अंग्रेजी का ज्ञान परखा जाता है । यह टेस्ट टोफेल परीक्षा के दिन ही होता है, फिर भी अलग से लिया जाता है । इसके दो वर्ग होते हैं । `टीएसई-ए` रिसर्च स्कॉलर्स के लिए तथा `टीएसई-पी' पेशेवर या रोजगार संबंधी प्रमाण पत्र लेने के लिए होता है ।