प्राकृतिक चिकित्सा के प्रति बढ़ते लगाव के कारण आज हमारे प्राकृतिक उत्पादों की माँग देश ही नहीं बल्कि विदेशों में भी खूब देखने को मिल रही है। आज भारी संख्या में लोग अपनी बीमारियों का इलाज प्राकृतिक सुगंध चिकित्सा में खोज रहे हैं। आम और खास आदमी की इसी बढ़ती रुचि के कारण सुगंध चिकित्सा आज एक रोजगार विकल्प का रूप ले चुकी है। किसी प्रतिष्ठित संस्थान से सुगंध विज्ञान में प्रशिक्षण लेने के बाद सुगंध चिकित्सक के रूप में कार्य शुरू किया जा सकता है, जिसमें सौंदर्य की साज-संभाल के अलावा अन्य रोगों में भी इलाज किया जाता है। सुगंध चिकित्सक के अलावा आप सुगंधित पदार्थ परामर्शदाता और इसके उत्पादन और व्यापार के क्षेत्र में की कार्य कर सकते हैं। अगर सही मायनों में देखें तो यह रोजगार के लिहाज से एक ऐसा क्षेत्र है जिसमें आपको अपनी क्षमताओं और रुचि के अनुसार रोजगार मिल सकता है। बेहतर प्रदर्शन करने पर आप न केवल अच्छा पैसा कमाएँगे बल्कि नाम कमाने का भी खूब मौका मिलेगा। सुगंध चिकित्सा से जुड़े सर्टिफिकेट स्तर के पाठ्यक्रम में प्रवेश के लिए 10+2 उत्तीर्ण होना जरूरी है लेकिन अगर आप डिग्री या डिप्लोमा कोर्स करने जा रहे हैं तो अधिकांश शिक्षण संस्थानों द्वारा इसके लिए आवेदक के पास मुख्य विषय के रूप में रसायन विज्ञान होना अनिवार्य है। सुगंध चिकित्सा से जुड़े कई पाठ्यक्रमों में केवल रसायन विज्ञान में स्नातक छात्रों को ही प्रवेश दिया जाता है। यह पाठ्यक्रम करने के बाद आज अस्पतालों, सुगंधित तेलों का उत्पादन करने वाली कंपनियों, स्पा सेंटर, पाँच सितारा होटलें, खानपान के क्षेत्र में, औषधि और पौष्टिïक आहार बनाने वाली कंपनियों तथा सौंदर्य प्रसाधन उद्योग में रोजगार के उजले अवसर हैं। सुगंध चिकित्सा से संबंधित पाठ्यक्रम संचालित करने वाले प्रमुख संस्थान इस प्रकार हैं- सुगंध और स्वाद विकास केंद्र, भारत सरकार, मार्कंड नगर, कन्नौज, उत्तरप्रदेश । शहनाज हुसैन वुमंस इंटरनेशनल स्कूल ऑफ ब्यूटी, ग्रेटर कैलाश, नई दिल्ली। केलर एजुकेशन ट्रस्ट, वीजी वूसे कॉलेज, मुंबई। पिवोट पाइंट ब्यूटी स्कूल, कैलाश कॉलोनी, नई दिल्ली।