समुद्र विज्ञान अर्थात (ओशियनोग्राफी) के अंतर्गत समुद्र से संबंधित विभिन्न पहलुओं का गहन अध्ययन किया जाता है। समुद्र वैज्ञानिक समुद्र के पानी की गति और प्रचालन एवं उसके भौतिक तथा रासायनिक गुणों का विस्तृत अध्ययन करते हैं तथा यह ज्ञात करते हैं कि जल के ये गुण तटीय क्षेत्रों, मौसम तथा जलवायु को किस प्रकार से प्रभावित करते हैं। ओशियनोग्राफी के अंतर्गत नमूने एकत्र करना, सर्वेक्षण करना, सागर में कई घंटे अत्याधुनिक उपकरणों का इस्तेमाल करते हुए आँकड़ों का विश्लेषण करना जैसे अनेक कार्य सम्मिलित हैं। चूँकि यह करियर रिसर्च ओरिऐटेक होता है इसलिए आपको दीर्घावधियों के लिए समुद्र में रहना होता है तथा इस दौरान समुद्र की सभी चुनौतियों तथा जोखिमों का सामना भी करना पड़ता है। ओशियनोग्राफी क्षेत्र में करियर बहुत चुनौतीपूर्ण है। गौरतलब है कि ओशियनोग्राफी के अध्ययन के लिए विभिन्न विषयों का परीक्षण करना होता है, अत: इसे अंतर्विषयक विज्ञान कहा जाता है। समुद्र विज्ञान और समुद्र संबंधी क्षेत्रों से जुड़े व्यक्तियों को विज्ञान के कम से कम एक बुनियादी विषय जैसे भू-विज्ञान, भौतिक विज्ञान, रसायन शा अथवा इंजीनियरी का ज्ञान अनिवार्य है। लगभग सभी मामलों में गणित का ज्ञान भी अनिवार्य है। समुद्री नीति अध्ययन के लिए कम से कम एक सामाजिक विज्ञान की जानकारी जैसे विधि, राजनीति विज्ञान आदि की जानकारी भी आवश्यक है। इस क्षेत्र में चमकीला करियर बनाने के लिए शैक्षिक तथा तकनीकी कौशल आवश्यक है। हमारे देश के कई विश्वविद्यालय समुद्र विज्ञान में स्नातक, स्नातकोत्तर तथा डॉक्टरेट उपाधि प्रदान करते हैं। मरीन साइंस/ओशियनोग्राफी में स्नातक उपाधि प्राप्त करने के लिए बारहवीं की परीक्षा न्यूनतम 50 प्रतिशत अंकों के साथ विज्ञान विषय से उत्तीर्ण होना आवश्यक है। स्नातकोत्तर स्तर पर मरीन बायोलॉजी, समुद्री भू विज्ञान, समुद्री भू-भौतिकी, रसायन समुद्री विज्ञान, भौतिक समुद्र विज्ञान, मौसम विज्ञान तथा ओशन लाइफ साइंसेज में एमएससी की जा सकती है। इसके उपरांत एम.फिल तथा पीएचडी भी की जा सकती है। इस क्षेत्र में उपयुक्त डिग्री लेने के उपरांत आप विभिन्न सरकारी तथा निजी संस्थानों में वैज्ञानिक, इंजीनियर अथवा तकनीशियन के रूप में रोजगार प्राप्त कर सकते हैं। सरकारी क्षेत्र के संगठनों में आप ऑयल इंडिया, भारतीय भू-वैज्ञानिक सर्वेक्षण संगठन, भारतीय मौसम वैज्ञानिक सर्वेक्षण संगठन तथा समुद्र विज्ञान विभाग आदि में रोजगार प्राप्त कर सकते हैं। समुद्री उद्योग, उत्पादों तथा अनुसंधान में रुचि रखने वाली निजी क्षेत्र की कई प्रतिष्ठित कंपनियाँ भी योग्य एवं प्रशिक्षित युवाओं को काफी अच्छे वेतनमान पर रोजगार के विभिन्न अवसर प्रदान करती हैं। ओशियनोग्राफी एक ऐसा क्षेत्र है जिसमें आकर्षक वेतन तथा लाभ प्राप्त किए जा सकते हैं। देश के कई संस्थान ओशियनोग्राफी से जुड़े विभिन्न रोजगारोन्मुखी पाठ्यक्रम संचालित करते हैं। इन संस्थानों में से प्रमुख संस्थान इस प्रकार हैं- • विज्ञान तथा प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, कोचीन (केरल)। • कर्नाटक विश्वविद्यालय, पावेट नगर,धारवाड़। • बहरामपुर यूनिवर्सिटी, बहरामपुर (ओडिशा)। • मरीन विज्ञान विभाग, कलकत्ता विश्वविद्यालय, कोलकाता। • इंस्टीट्यूट ऑफ इंजीनियरिंग एंड ओशियन टेक्रोलॉजी, नवी मुंबई। • सेंट्रल इंस्टीट्यूट ऑफ टॉपिकल मीटीरियोलॉजी, पुणे। • इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ ओशनोग्राफी, गोआ।